मुंबई: मुंबई सहित राज्यभर की महानगरपालिका, नगरपालिका, नगर परिषद, नगर पंचायत के उम्मीदवारों के चुनाव लड़ने के खर्च की सीमा बढ़ा दी है। बीएमसी में नगरसेवकों के चुनाव लड़ने की खर्च 10 लाख रुपये से बढ़ाकर 15 लाख रुपये कर दिया है। इसका कारण चुनाव में लगने वाली सामग्री की कीमत बढ़ना बताया गया है। इससे पहले सभी राजनीति दल चुनाव खर्च बढ़ाने की मांग कर रहे थे जिसे राज्य चुनाव आयोग ने स्वीकार कर लिया है।   
   
स्थानीय निकाय का चुनाव लड़ने वाले उम्मीदवार ही अपनी तरफ से चुनाव लड़ने के लिए पैसा खर्च करता जिसकी चुनाव आयोग ने नकेल लगा रखी है। आयोग के अनुसार, स्थानीय निकाय चुनाव और उपचुनावों के लिए चुनाव खर्च की सीमा में तकरीबन डेढ़ गुना वृद्धि की है। पिछली बार वर्ष 2016-17 में चुनाव खर्च की सीमा निर्धारित की गई थी। लगभग 8 साल बीत जाने के बाद अब चुनाव खर्च की सीमा में संशोधन आवश्यक था। आयोग ने यह भी स्पष्ट किया है कि सभी उम्मीदवारों के लिए अपने चुनाव खर्च का विवरण निर्धारित समय सीमा में प्रस्तुत करना अनिवार्य होगा। ऐसा न करने वाले उम्मीदवारों को संबंधित कानूनों के अंतर्गत अयोग्य ठहराया जा सकता है।
     
महाराष्ट्र राज्य चुनाव आयोग ने मुंबई सहित ‘A’ श्रेणी की पुणे और नागपुर महानगरपालिकाओं के उम्मीदवारों को 15 लाख रुपये तक खर्च करने की सीमा तय की है। पहले यह खर्च की सीमा 10 लाख रुपये थी। ‘B’ वर्ग की महापालिकाओं (पिंपरी चिंचवड, नासिक, ठाणे) में यह सीमा 13 लाख रुपए तय की गई है। ‘C’ वर्ग की महापालिकाओं (कल्याण-डोंबिवली, नवी मुंबई, छत्रपति संभाजी नगर, वसई-विरार) के लिए चुनाव खर्च की सीमा 11 लाख की सीमा तय की है, जबकि ‘D’ वर्ग की 19 अन्य महानगरपालिकाओं के लिए यह सीमा 9 लाख रुपये निश्चित किया है।
     
महानगरपालिका के अलावा महाराष्ट्र चुनाव आयोग ने नगर परिषद और नगर पंचायत चुनावों के लिए भी खर्च की सीमा बढ़ाई है। ‘A’ वर्ग की नगरपरिषदों में सीधे नगराध्यक्ष पद के उम्मीदवारों को अब 15 लाख रुपये और सदस्य पद के लिए 5 लाख तक खर्च की लिमिट डाली है। ‘B’ वर्ग नगरपरिषदों में नगराध्यक्ष पद के लिए 11 लाख 25 हजार और सदस्य पद के लिए 3 लाख 50 हजार रुपये खर्च की सीमा तय की है। ‘C’ वर्ग नगरपरिषदों में नगराध्यक्ष पद के लिए 7 लाख 50 हजार और सदस्य पद के लिए 2 लाख 50 हजार रुपये खर्च तय किया है।
   
नगर पंचायत के चुनाव में नगराध्यक्ष पद के उम्मीदवार 6 लाख, सदस्य पद के उम्मीदवार 2 लाख 25 हजार तक खर्च कर सकेंगे। इसके अलावा 71 से 75 निर्वाचन विभागों वाली जिला परिषदों में सदस्य पद के लिए 9 लाख और पंचायत समिति सदस्य पद के लिए 6 लाख की सीमा तय की गई है। 61 से 70 निर्वाचन विभागों वाली जिला परिषदों के लिए यह सीमा क्रमशः 7.5 लाख और 5.25 लाख होगी।
   
ग्राम पंचायत चुनावों में 7 से 9 सदस्यों वाली ग्राम पंचायतों में सरपंच पद के लिए 75 हजार, सदस्य पद के लिए 40 हजार, 11 से 13 सदस्य वाली ग्राम पंचायत में सरपंच के लिए 1.5 लाख, सदस्य के लिए 55 हजार, 15 से 17 सदस्य वाली ग्राम पंचायत में सरपंच के लिए 2.65 लाख, सदस्य पद के लिए 75 हजार खर्च की सीमा तय की गई है।
  
स्थानीय निकाय का चुनाव लड़ने वाले उम्मीदवार ही अपनी तरफ से चुनाव लड़ने के लिए पैसा खर्च करता जिसकी चुनाव आयोग ने नकेल लगा रखी है। आयोग के अनुसार, स्थानीय निकाय चुनाव और उपचुनावों के लिए चुनाव खर्च की सीमा में तकरीबन डेढ़ गुना वृद्धि की है। पिछली बार वर्ष 2016-17 में चुनाव खर्च की सीमा निर्धारित की गई थी। लगभग 8 साल बीत जाने के बाद अब चुनाव खर्च की सीमा में संशोधन आवश्यक था। आयोग ने यह भी स्पष्ट किया है कि सभी उम्मीदवारों के लिए अपने चुनाव खर्च का विवरण निर्धारित समय सीमा में प्रस्तुत करना अनिवार्य होगा। ऐसा न करने वाले उम्मीदवारों को संबंधित कानूनों के अंतर्गत अयोग्य ठहराया जा सकता है।
महाराष्ट्र राज्य चुनाव आयोग ने मुंबई सहित ‘A’ श्रेणी की पुणे और नागपुर महानगरपालिकाओं के उम्मीदवारों को 15 लाख रुपये तक खर्च करने की सीमा तय की है। पहले यह खर्च की सीमा 10 लाख रुपये थी। ‘B’ वर्ग की महापालिकाओं (पिंपरी चिंचवड, नासिक, ठाणे) में यह सीमा 13 लाख रुपए तय की गई है। ‘C’ वर्ग की महापालिकाओं (कल्याण-डोंबिवली, नवी मुंबई, छत्रपति संभाजी नगर, वसई-विरार) के लिए चुनाव खर्च की सीमा 11 लाख की सीमा तय की है, जबकि ‘D’ वर्ग की 19 अन्य महानगरपालिकाओं के लिए यह सीमा 9 लाख रुपये निश्चित किया है।
महानगरपालिका के अलावा महाराष्ट्र चुनाव आयोग ने नगर परिषद और नगर पंचायत चुनावों के लिए भी खर्च की सीमा बढ़ाई है। ‘A’ वर्ग की नगरपरिषदों में सीधे नगराध्यक्ष पद के उम्मीदवारों को अब 15 लाख रुपये और सदस्य पद के लिए 5 लाख तक खर्च की लिमिट डाली है। ‘B’ वर्ग नगरपरिषदों में नगराध्यक्ष पद के लिए 11 लाख 25 हजार और सदस्य पद के लिए 3 लाख 50 हजार रुपये खर्च की सीमा तय की है। ‘C’ वर्ग नगरपरिषदों में नगराध्यक्ष पद के लिए 7 लाख 50 हजार और सदस्य पद के लिए 2 लाख 50 हजार रुपये खर्च तय किया है।
नगर पंचायत के चुनाव में नगराध्यक्ष पद के उम्मीदवार 6 लाख, सदस्य पद के उम्मीदवार 2 लाख 25 हजार तक खर्च कर सकेंगे। इसके अलावा 71 से 75 निर्वाचन विभागों वाली जिला परिषदों में सदस्य पद के लिए 9 लाख और पंचायत समिति सदस्य पद के लिए 6 लाख की सीमा तय की गई है। 61 से 70 निर्वाचन विभागों वाली जिला परिषदों के लिए यह सीमा क्रमशः 7.5 लाख और 5.25 लाख होगी।
ग्राम पंचायत चुनावों में 7 से 9 सदस्यों वाली ग्राम पंचायतों में सरपंच पद के लिए 75 हजार, सदस्य पद के लिए 40 हजार, 11 से 13 सदस्य वाली ग्राम पंचायत में सरपंच के लिए 1.5 लाख, सदस्य के लिए 55 हजार, 15 से 17 सदस्य वाली ग्राम पंचायत में सरपंच के लिए 2.65 लाख, सदस्य पद के लिए 75 हजार खर्च की सीमा तय की गई है।
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